अपनी जान
छोड़ दो चिंता दुनिया जहान,
बचा लो केवल अपनी जान।
गर करना है उपकार कोई,
बस करना तुम उपचार यही।
बच जाएंगे सबके प्राण,
बचा लो केवल अपनी जान।
मास्क पहनकर घर में रहो,
कष्ट ये कुछ दिन और सहो।
सब रिश्ते नाते कर अनजान,
बचा लो केवल अपनी जान।
स्वार्थ नहीं निःस्वार्थ है ये,
जीवन का परमार्थ है ये।
ईश्वर का प्रदत्त तू है वरदान,
बचा लो केवल अपनी जान।
मौत के आगे सब लाचार,
बेबस दिखती अब सरकार।
मत चल बाहर सीना तान,
बचा लो केवल अपनी जान।
जो खुद की जान बचा ले सब,
हालात न मुश्किल होंगे तब।
मौत से लड़ना तब आसान,
बचा लो केवल अपनी जान।
माना कि सफ़र ये मुश्किल है
पर सामने दिखता मंजिल है।
हर जंग में संग रहे भगवान,
बचा लो केवल अपनी जान।
©पंकज प्रियम
30.4.2021
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