Thursday, December 12, 2019

747.जीवन में खुश रहने के 7 मंत्र

जीवन मंत्र

स्वर्ग यहीं है और नर्क भी यहीं है , सुख और दुःख सबकुछ आपके कर्मों पर आधारित है। जिसके लिए हमारे वेदों में बहुत सरल मार्ग भी दिखाये गये हैं। गरुड़ पुराण में जीवन के हर क्षण का बहुत बारीकी से विवेचन किया गया है। विज्ञान के सारे नियम और प्रकृति को बहुत पहले इस ग्रन्थ में बहुत विस्तृत से बताया गया है। इसके 19000 श्लोकों मैं जीवन का सम्पूर्ण सत्य और दर्शन प्राप्त होता है। दशगात्र कर्म में सिर्फ 16 अध्याय का ही पाठ किया जाता है। उसके सिर्फ 7 सूत्र को ही अगर जीवन में उतार लें तो कष्ट नहीं होगा। उसके इन 7 सूत्रों को सरल दोहे के रूप में प्रस्तुत करने की कोशिश की है।

1. धैर्य
धीरज ही सबसे बड़ा, है जीवन का मीत।
रखता मन में धैर्य जो, मिलती उसको जीत।।

3. इंद्रियों पे काबू
रखना वश में इन्द्रियाँ, जाना जिसने ज्ञान।
लगता उसको है यहाँ, हर मुश्किल आसान।।

2. क्रोध पे नियंत्रण
जीवन में बढ़ना अगर, मत करना तुम क्रोध।
गुस्से में जलकर सभी, बनते खुद अवरोध।।

4. पवित्रता
लक्ष्मी मिलती है उसे, मन जिसका हो पवित्र।
मन पावन महके सदा, सुंदर स्वच्छ चरित्र।।

5.दया
करता सबपर जो दया, खुश रहते भगवान।
मिलती खुशियां सब उसे, कहलाता इंसान।।

6. मीठी वाणी
मीठी वाणी बोलिये, खुल जाता सब द्वार।
बोली से ही प्यार है, बोली से तकरार।।

7. द्वेष का त्याग
खुद का बैरी है वही, दिल में जिसका द्वेष।
तन को मिलता कष्ट है, मन को होता क्लेश।।

©पंकज प्रियम
12.12. 2019


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